जमशेदपुर: टाटा मोटर्स वर्कर्स यूनियन कार्यालय में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी एवं भारत के पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय लाल बहादुर की जयंती मनाई गई। यूनियन के अध्यक्ष गुरमीत सिंह एवं महामंत्री आर के सिंह के साथ-साथ यूनियन के सभी सदस्य शामिल हुए। आर के सिंह फैंस क्लब के सदस्य एक्टिव मेंबर भी इस कार्यक्रम में शामिल हुए। सबसे पहले अध्यक्ष व महामंत्री द्वारा श्रद्धा सुमन दोनों की तस्वीरों पर अर्पित किया गया। तत्पश्चात उपस्थित सभी सदस्यों ने अपना श्रद्धा सुमन दोनों महान हस्तियों को अर्पित किया। इस अवसर पर अपने संबोधन में महामंत्री आर के सिंह ने कहा कि आज की भाग दौड़ जिंदगी में हम यहां आज इकट्ठा हुए हैं सबसे पहले तो पिता महात्मा गांधी एवं पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री हिर्दय से श्रद्धांजलि देता हूं। नमन करता हूं साथ ही साथ आज के दोनों महापुरुषों को याद करते हुए उनके कार्यों को याद करते हुए आप हम सब अपने जीवन को सार्थक बनाने का प्रयास करें। महात्मा गांधी जी ने अहिंसा और सच्चाई के दम पर सैकड़ों साल की गुलामी को तोड़ते हुए भारत को आजादी दिलाई। आज के समय में जहां लोगों में सहनशीलता नहीं है उनको याद करके हम अपने जीवन में धैर्य और सच्चाई के साथ रहने का रहेंगे। गुण सीख सकते हैं पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय लाल बहादुर शास्त्री जी के कार्यों को हम सब याद करें तो आज के दौर में जो हमें कठिनाइयां हो रही है जो आपदा देश पर आई है करुणा के रूप में उससे भी बड़ी आपदा उनके कार्यकाल में आई थी लेकिन भारत का स्वाभिमान को बढ़ाने के लिए उन्होंने जय जवान और जय किसान का नारा दिया और हरित क्रांति के रूप में आत्मनिर्भर भारत का दर्शन हम लोग कर पा रहे हैं। साथियों आज के दिन में तकनीकी रूप से भी आत्मनिर्भर होने की आवश्यकता है। हम अपने आप को आत्मनिर्भर करके ही इन महापुरुषों के सपनों को साकार कर सकते हैं। टाटा मोटर्स अपने आप को तकनीकी रूप से विकसित कर लगातार देश के विकास में सहयोग करती है। अध्यक्ष महोदय ने अपने संबोधन में कहा कि जीवन में सादगी का बहुत महत्व है। जहां आज लोग दिखावे की ओर परेशान हैं हमें महात्मा गांधी जी को याद कर सादा जीवन बिताने का और दूसरों का सहायता करने का अपने जीवन में लगातार बनाए रखना चाहिए। कोविड-19 और में हम सब ने पाया है महात्मा गांधी जी ने जो सादा जीवन सादगी से जीवन जीने का वह लोगों को सिखाया था वही लोगों को काम आया। साथ ही साथ लाल बहादुर शास्त्री जी को याद कर हम सब यह अपने अंदर भी महसूस कर सकते हैं ईमानदारी से किया गया प्रयास कभी विफल नहीं होता है। एक समय था कि भारत अनाज के लिए दूसरे देशों पर निर्भर रहता था। लेकिन एक दिन निश्चय के साथ हरित क्रांति ने देश को आत्मनिर्भर ही नहीं बल्कि दूसरे देशों को अनाज देने की स्थिति में हम लोग हैं। हम सब अपने जीवन में भी किसी भी कार्य को सच्चाई और निष्ठा के साथ करें तो सफलता जरूर मिलेगी और हम लोग यूनियन में होने के नाते मजदूर हित के कार्यों को निष्ठा पूर्वक कर सकेंगे और यही हमारा कर्तव्य है।
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Sat Oct 2 , 2021